स्वदेशी: क्या है राजनीतिक अर्थ? पं. विजयशंकर मेहता का विश्लेषण Swadeshi Movement Political Analysis India

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स्वदेशी: क्या है राजनीतिक अर्थ? पं. विजयशंकर मेहता का विश्लेषण Swadeshi Movement Political Analysis India
साधनान्यूज़ की रिपोर्ट के अनुसार, पं. विजयशंकर मेहता के ताज़ा कॉलम में स्वदेशी आंदोलन के राजनीतिक आयामों का गहन विश्लेषण किया गया है।
मेहता ने लिखा है कि वर्तमान समय में स्वदेशी का महत्व केवल आर्थिक नहीं, बल्कि राष्ट्रीय एकता और राजनीतिक स्वाभिमान से भी जुड़ा है।
उन्होंने कहा कि ‘सपने बड़े देखें।
सूरज बनकर चमक न सकें तो कम से कम दीये तो बन ही जाएंगे।
‘ यह पंक्ति आज के भारत के लिए प्रासंगिक है।
मेहता ने तर्क दिया कि हर नागरिक, चाहे वह किसी भी राजनीतिक दल से जुड़ा हो, चाहे वह कांग्रेस समर्थक हो या बीजेपी समर्थक, स्वदेशी को बढ़ावा देकर राष्ट्र निर्माण में योगदान दे सकता है।
व्यापारियों से लेकर नौकरीपेशा लोगों तक, सभी के पास देश सेवा का अवसर है।
मेहता के अनुसार, वर्तमान चुनौतियों के बीच, स्वदेशी आंदोलन देश को आत्मनिर्भर बनाने और वैश्विक मंच पर अपनी पहचान मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है।
यह चुनावों में विभिन्न दलों के वादों से परे एक ऐसा मुद्दा है जो सभी राजनीतिक विचारधाराओं को एकजुट कर सकता है।
उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि स्वदेशी को बढ़ावा देने से न केवल अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी, बल्कि देश के युवाओं को रोजगार के अवसर भी प्राप्त होंगे।
यह नेताओं के लिए एक ऐसा अवसर है जिससे वे जनता के बीच अपनी छवि बेहतर कर सकते हैं।
इस प्रकार, स्वदेशी राष्ट्रीय एकता और राजनीतिक स्थिरता का भी एक कारक बन सकता है।
मेहता के लेख से स्पष्ट होता है कि स्वदेशी का भाव केवल एक आर्थिक नीति नहीं, बल्कि राष्ट्र के प्रति समर्पण और प्रेम की अभिव्यक्ति है।
- स्वदेशी: राष्ट्रीय एकता और राजनीतिक स्थिरता का आधार
- हर नागरिक के लिए देश सेवा का अवसर
- चुनावों से परे, सभी राजनीतिक दलों के लिए प्रासंगिक
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Posted on 05 September 2025 | Stay updated with साधनान्यूज़.com for more news.